गाज़ीपुर: सौहार्द,मानवता और सद्भावना हेतु समर्पित संस्था आल इंडिया पयामे इंसानियत फोरम ग़ाज़ीपुर यूनिट द्वारा ग़ाज़ीपुर शहर के मदरसा दीनिया के काँफ्रेस हॉल में सद्भावना हेतु एक डायलॉग प्रोग्राम बात प्रेम और भाईचारे की का आयोजन किया गया जिसमें जनपद के सम्मानित बुद्धिजीवियो ने प्रतिभाग किया और अपने-अपने विचार व्यक्त किये मदरसा दीनिया के प्रबन्धक मौलाना सऊदुल हसन नदवी ने कार्यक्रम को सम्बोधित करते हूए कहा कि ज़रूरत है कि आज प्रेम का एक ऐसा कारवां तैयार किया जाय जो नफ़रत का दम घोंट दे और इंसानियत को ज़िन्दगी दे दे,इसलिए ज़रूरी है कि हर देशवासियो से मिला जाय,उनके दुःख-दर्द को सुना जाय और उन्हें अपना भाई माना जाय।इसी सोच को लेकर ऑल इंडिया पयामे इंसानियत फोरम गाज़ीपुर यूनिट ने मानवता की सेवा को अपना परम् उद्देश्य बनाया ताकि देश में सौहार्द और मानवता की ठंडी हवा चलाई जा सके ग्रामीण विकास संस्थान मऊ के निदेशक शमीम अब्बासी ने कहा आज मानव समाज की सबसे बड़ी नेमत मानवता है,अगर किसी को ये मिल गई तो वह समाज का सबसे धनी और सुखी व्यक्ति माना जायेगा,अतःहमें चाहिए कि हम हर किसी के दुःख दर्द में काम आएं,भाईचारे को बढ़ावा देने के लिए एक दूसरे से मिलें और दूसरे के घर आना जाना करें तभी देश में खुशहाली आएगी मुख्य अतिथि मौलाना अब्दुल अली हसनी नदवी ने कहा कि वर्तमान में जबकि मानवता संकट में है तो ज़रूरत है कि समाज के मध्य जाकर उनमें मानवता का संचार किया जाय और उनके दुःख-दर्द में शामिल हुआ जाय और उन्हें बताया जाय कि तुम हमारे भाई हो और भाई ही भाई के काम आता है। आज देश को इंसानियत के नाम पर एकजुट किया जा सकता है और हमेशा से इसी एकजुटता के बल पर हमने समाज विरोधी ताकतों को हराया है।आगे उन्होंने कहा कि आज समाज के युवाओं में एजुकेशन की बड़ी समस्या है उसके निराकरण के लिए हमें प्रयास करने चाहिए प्रोफेसर अकबरे आज़म ने कहा कि इंसानियत ऐसा शब्द है कि जिसपर समस्त मानव समाज को एकजुट किया जा सकता है, आज समाज में जो विघटन है उसे दूर करने के लिये मानवता के कार्यों से समाज को जोड़ना ज़रूरी है।भारत का संविधान भी हमें बंधुता पर आगे पढ़ने को प्रेरित करता है एडवोकेट अरुण सिंह ने कहा कि सद्भावना को कामयाबी हासिल करने के लिये मानवता का हाथ थामना होगा और उसके लिए गाँव-गाँव जाना होगा सौहार्द साथी और नया सवेरा फाउंडेशन के महासचिव तारिक़ अब्बासी ने कहा कि समाज को जोड़ने वाले ऐसे कार्यकर्मों से लोगों में प्रेम और भाईचारे का अंकुर फूटता है जिसे सौहार्द की खाद-पानी देते रहना होगा और सम्भव हो तो हर माह इसी तरह की संवाद बैठक का आयोजन होना चाहिए ताकि इस कार्यक्रम से समाज के अन्य वर्ग को जोड़ा जा सके कार्यक्रम संयोजक नजमुस्साकिब अब्बासी ने कहा कि ज़रूरत है कि आज इंसानियत का हाथ थामा जाये,उनके दुःख-दर्द को सुना जाय और संवाद स्थापित करके उनकी समस्या का निराकरण किया जाय सम्यक युवा मंच के संयोजक अखिलेश मौर्या ने कहा की इस तरह के प्रोग्राम को निरंतरता के साथ करने की ज़रूरत है ताकि सद्भावना का माहौल बनाया जा सके राम बदन सिंह ने कहा कि शिक्षा के क्षेत्र में उन युवाओं को गाइड करने की ज़रूरत है जो उच्च शिक्षा प्राप्त करने जा रहे हैं शाहनवाज सिद्दीकी ने कहा कि स्कील डेवलपमेंट में भी युवाओं को मार्गदर्शन देने की अति आवश्यकता है कि कौन सा हुनर मौजूदा दौर में काम आने वाला है सौहार्द फेलो बृजभूषण सिंह ने कहा कि आज जिस तरह से युवा पीढ़ी के बीच संपर्क और संवाद घटता जा रहा है और प्रचार माध्यमों से युवाओं में वैमनस्यता फैलाई जा रही है,इससे भविष्य में मुहब्बत घटेगी और नफरत बढ़ेगी जो समाज के लिए ठीक नहीं है कामरेड अमेरिका सिंह ने कहा कि समाज सुधार के लिए स्वयं में बदलाव ज़रूरी है,हमारी नैतिकता ही समाज को नैतिक मूल्यों के प्रति जागरूक करेगी और समाज को प्रेरित करेगी सौहार्द बंधुत्व मंच के साथी सतीश उपाध्याय ने कहा कि समाज हमसे बनता है, हम सही बन गए तो अच्छे समाज की बुनियाद डालने से कोई नहीं रोक सकते सौहार्द साथी और व्यापार मंडल बहादुरगंज के अध्यक्ष ज़फर अक़ील ने कहा कि समाज में विसंगति को दूर करने के लिए मानवता का होना बहुत ज़रूरी है,मानवता को मज़बूती देना हम सबका कर्तव्य है।गांधीवादी ईश्वर चंद ने कहा कि मानवता की ज़रूरत हमें क़दम क़दम पर है,जब समाज में मानवता आएगी तो समाज को खुशहाल बनाना आसान होगा पूर्व लेक्चरर जनक कुशवाह ने कहा कि आज का कार्यक्रम बड़ी उम्मीद जगाता है और हमें इस उम्मीद को यक़ीन में बदलना चाहिए अरमान अंसारी ने कहा कि ऐसी ये संवाद कार्यक्रम उम्मीद जगाता है,भविष्य में इसपर फिर चर्चा की जाएगी ताकि इंसानियत का कारवां आगे बढ़े सौहार्द मेंटर और पर्यावरणविद क़ाज़ी आलम ने कहा कि समाज को बहादुरों की जरूरत है,वह बहादुर जब मानवता के लिए खड़े होंगे तभी इंसानियत की खेती लहलहा उठेगी बड़े महाराज लवकुश द्विवेदी ने कहा कि भविष्य में आगे भी इसी तरह बैठकर इंसानियत को बढ़ावा देने की कोशिश की जाएगी,हम धार्मिक स्तर कुछ भी हों मगर सबसे पहले हम मानव हैं,ये याद रखना होगा मौलाना अरशद नदवी ने कहा कि इंसानियत के इस कारवां को हमें जिम्मेदारी से आगे ले जाने की जरूरत है असजद सिद्दीकी ने कहा कि गाज़ीपुर में इस तरह के कार्यक्रम हम लोग निरंतर करते रहते हैं,आगे भी ऐसे कार्यक्रमों से हम लोगों को जोड़ते रहेंगे शिक्षक संघ के पूर्व अध्यक्ष नसीम अब्बासी ने कहा कि आज का कार्यकम उम्मीद जगाने वाला है,ऐसे कार्यक्रमों से ही देश की एकता को मजबूती मिलेगी मुहम्मद सैफ ने कहा कि इंसानियत का दायरा पूरे कायनात को समेटे हुए है,जिसमें इंसानियत नहीं उसमें कोई भलाई नहीं सौहार्द साथी और व्यापार मंडल के महामंत्री अच्छे लाल कुशवाहा ने कहा कि सबसे पहले हम इन्सान हैं,उसके बाद हम कुछ हैं,बस मानवता को बचाने के लिए हमें जी तोड़ मेहनत जारी रखनी होगी।
इस प्रोग्राम में सौरभ सिंह, भूपेश पांडेय,मुईनुद्दीन राइनी,मौलाना गयासुद्दीन क़ासमी, मौलाना अफजल नदवी, अब्दुर्रहमान सिद्दीकी आदि मौजूद थे।